मुझे रूठना अब अच्छा नहीं लगता
क्या करू कोई मानाने वाला नहीं मिलता,
सब मिल जाता है शोहरतो के बाजार मे
पर कोई सच्चा इश्क़ नहीं मिलता,
मुझे भी मोहब्बत के अन्जामो से गुजरना है
पर तेरे घर का पता नहीं मिलता,
रोज़ खुद से खुद की बाते कर ख़ुश हो लेता हु
राज तुझे तो कोई सताने वाला भी नहीं मिलता..
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