QUOTES ON #OURSOCIETY

#oursociety quotes

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7 JAN 2020 AT 20:56

ऐसा क्यों?
हमारा समाज रेप मत करो कि बजाय
रेप से बचो सिखाता है।
एक पोर्न स्टार को इस सेलेब्रिटीज का दर्जा तो दे देता है,
पर एक रेप पीड़िता को आम इंसान का दर्जा भी नहीं दे पाता है!!
क्यों?

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24 JUN 2020 AT 22:23

"हमारा समाज"
वक़्त ही तो है बदल जायेगा..
आज मैं तुम्हारे पैरों के नीचे हूँ
कल तुम्हें भी कोई कुचल जायेगा..

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19 JUL 2020 AT 0:44

बच्चे जब जन्म लेते हैं
जन्मते नहीं हैं साथ में उनके
धर्म,जाति, ऊंच-नीच, घृणा या वैमनस्य
बल्कि पनपते हैं वो हमारी ही छत्रछाया में.....
सिखाते हैं हम उन्हें, छुआछूत, ऊंच-नीच और भेदभाव करना
और अपने भोले भाले स्वस्थ बच्चे को बीमार करना
हम अपना उत्तरदायित्व समझते हैं
और हस्तांतरित कर देते हैं उन्हें वो सारे घिनौने सामाजिक रोग
जिनसे हम ग्रसित रह चुके होते हैं.....
और बचपन से ही उनके अंदर डाल देते हैं एक दरार,
जो वक्त के साथ बढ़ती जाती है और बन जाती है एक वैचारिक खाई
और हर पीढ़यों की तरह एक और पीढ़ी
रोगों से ग्रसित होकर
उसी खाई में दब कर मर जाती है.....
और उस पीढ़ी के साथ ही,
दफ्न हो जाते हैं वो खुले और स्वस्थ विचार
जो अगर पूर्वाग्रह से ग्रसित ना हुए होते
तो एक नए समाज का निर्माण कर सकते थे.....
एक ऐसा समाज,जो मुक्त होता उन घिनौनी सामाजिक बुराइयों से
जिन्हे हम सदियों से हस्तांतरित करते चल रहे हैं......

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14 JUL 2020 AT 0:27

पसंद क्यूं नहीं करते लोग हमसे बोलना
क्यूं हमे देखते ही मुंह घुमा लेते हैं
क्या कुरूप होना प्रतीक है गुनाह का
अगर नहीं, तो क्यूं हम वेबजह सज़ा पाते हैं.......??
गर खूबसूरत नहीं मैं, तो कुसूर मेरा क्या
गर भद्दा है रंग मेरा, तो गलती मेरी क्या
क्या ये भी अपराध की श्रेणी में आते हैं
अगर नहीं, तो क्यूं हम तिरस्कार के भागी बन जाते हैं.......??
क्या खूबसूरती का अर्थ नहीं...
मेरा संस्कारी होना, मेरा नेक दिल
मेरी काबिलियत, मेरा बेदाग चरित्र
क्या इन सब का लोगों की नज़रों में कोई मोल नहीं
अगर है, तो क्यूं वो काले रंग में अच्छाइयां नहीं ढूढ पाते हैं.....??
ये कैसा समाज है साहब
जहां लोग ज्ञान तो बहुत देते हैं
के इंसान दिल से खूबसूरत होना चाहिए रंग से नहीं
पर हकीकत आज भी यही है
कि लोग दिल की खूबसूरती पर नहीं
बल्कि चेहरे की चमक पर मर जाते हैं......

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22 JUN 2020 AT 19:40



आज अजीब सी रात है अाई,
भाई ने बहन की अर्थी जो उठाई,
प्यार ने आज एक और हार है खाई,
कैसे सुबकते आंसुओ के साथ,
घर की औरतें है अाई,
प्रेम विवाह समाज की नाक है कटाई,
देखो आज अजीब सी रात है अाई,

खुशियों का वो ख्याल ना रख पाई,
ज़हर जो खा के जान है गवाई,
पसंद को जो रज़ामंद ना करवा पाई,
नहीं सुनी किसी ने उसकी सुनवाई,
मौत की आगोश में आत्मा की तनहाई,
देखो कैसी आज अजीब सी रात है अाई,
भाई ने बहन की अर्थी जो उठाई।।
- पूजा गौतम


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6 JUL 2020 AT 17:02

"Jamana badal gaya hai janab"
Ab log jhooth ko swikar karte Hain
Aur jo Sach bolte Hain use per log atyachar karte Hain!!!
Diksha jha

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12 APR 2021 AT 13:34

वो ठहरा फिल्मी सितारा सा
आय दिन अखबार में उसकी खबर आती है ।

हम ठहरे गरीब मजदूर जैसे
हमारी हालत किसी को कहां नजर आती है ।

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19 DEC 2020 AT 15:56

How beautiful it is
to find someone
Who asks for
Nothing but your
Company....

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12 NOV 2020 AT 1:55

Log ram mandir ki baat karte mene sita ko bhi anginat nazaro ke bojh se dabte dekha hai

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अपने हक की माँग क्या की, बेढ़ंगा बता दिया !
जरा सा विरोध क्या किया, अड़ंगा बता दिया !!
और भले ही खुद घूमते हैं पूरे दिन बस तौलिये में,
औरत की टांग क्या दिखी, नंगा बता दिया !!!

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