Ashish Agrawal 2 DEC 2018 AT 9:18 रोना चाहूं पर फिर भी रो नही पाऊ,खुद चाहता क्या हूं वो समझ ना पाऊं।डरता हूं कहीं फस जाऊ कही में,अब चाहत हैं सबसे आगे निकल जाऊं में।। -