QUOTES ON #YQदीदी

#yqदीदी quotes

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27 OCT 2021 AT 20:26

शब्द कहीं बिखर गए हैं
वर्ण अपनी ख़ोज पर गए हैं
और
क़लम की नोंक ,स्याही की याद में टूट गई
एक कविता बननी थी
शायद
पर समय की आंधी में पीछे छूट गई

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10 MAR 2021 AT 17:14

सपना जब देखोगे तो मुश्किलें
बहुत आएंगी
मंज़र तब बहुत खूबसूरत लगेगा जब
कामयाबी शोर मचाएगी

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10 MAY 2017 AT 11:44

सुनो तो
दिल की बढ़ती धड़कन का राज़
सुनो तो
पलको के नीचे दबी बात
सुनो तो
चेहरे पे खिलखिलाती हँसी
और हवा में उड़ते बाल तो देखो
सुनो तो
मन मे छिपी बात
जो अल्फाज़ो में न निकल पाई
आंखों में छिपी बात
जो आँसुओ के पीछे दिखाई न दी
सुनो तो
आँखो की गहराइयों में झूलते
दिल की धड़कनों के पीछे
एक बार तो सुन लो

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27 DEC 2017 AT 13:02

YOUTUBE/MUSAFIR HU YAARO

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16 MAY 2017 AT 17:59

हर छोटे शब्द
का बड़ा एहसास
सुमन की सुगंध
और प्यार के शहद का राज़
कलम में भरी स्याही
और कागज़ में डूबते अल्फ़ाज़
कभी दुखभरी गाथा
कभी छिपी मुहोब्बत का इज़हार
आस पास हो रहे
सियासत की जंग जैसे
लड़ते है हमारे भाव
हुनर की तलवारे
चल रही है
लड़खड़ाकर हमारे कदम
दिल की ज़मीन
को बर्बाद कर
चल रहा है शब्दो का सफर
इंतज़ार करता मन
इंतज़ार करते हम
कंधे से कंधा मिलाकर
गम बांटते चलते है हम

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23 DEC 2017 AT 16:12

दर्द, उदासी, बिना तुम्हारे, हर दिन आहें भरता हूं !
लौट आओगे तुम इक दिन बस हर दिन तारे गिनता हूं !
डर लगता है खो न दूँ बस, एक बार मिल जाओ तुम,
तुम्हें याद करता हूँ हर दिन एक पल भी न थकता हूँ !!

©® प्रमोद कुमार 'आर्य '
YouTube/MUSAFIR HU YAARO

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30 JUN 2017 AT 6:50

एक लड़की थी
कुछ नाज़ुक सी
एक लड़का था
कुछ अलग सा
दुनिया से हारे
और झूठ से मृत
आँखों मे काजल आँसू के
वह रोज़ उसकी आँखों से पोंछता था
रोज़ उसके चेहरे पर सालों से छिपी मुस्कान
वह खोज निकालकर वह उसके चेहरे पर टाँगती
रोज़ एक झगड़ा
रोज़ एक माफी
प्रेम नहीं था इनके बीच थी एक अलग यारी
दो जलते इमामों के झंडों की ये दस्तूर
ये फिर एक प्यार के टूटने की कहानी
जहाँ कई सालों पहले की सर की पगड़ी
उस के होठों पर पुरानी यादों की कहानी बन गयी
जहाँ कई सालों बाद
पुराना बुरखा उसके आँखों में भरते आँसू बन गया

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18 MAY 2017 AT 17:38

लिखते लिखते
न जाने कब
तेरी आँखों मे छिपी
कशमकश ने पन्ने भर दिए
लिखते लिखते
न जाने कब आँख लगी
और तेरे सपनो की कहानिया
फिर एक बार दिल पर छप गई
न जाने कब स्याही खत्म हुई
न जाने कितनी देर तक लिखते लिखते
कलम टूट गयी
सच कहा है किसीने
कलम से ज़्यादा भावुक
टूटे दिल के टुकड़े बयान करते है
तभी तो मेरी हर कहानी में
तेरी मुस्कान और चेहरे की रौनक
के किस्से होते है।

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4 JUN 2017 AT 16:51

बढ़ते कदमो को थाम कर देखो
अपने पंख खोल कर उड़ जाउंगी
मुझे बेड़ियो में बांध कर देखो
अपने आत्म बल से हर बेड़ी
हर बंधन तोड़कर भाग जाऊंगीं

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2 JUL 2017 AT 4:46

"हाँ,मैं लड़की हूँ"
(Caption)

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