सच कहू तो मेरा दिल, आज टूट गया है,
कोई है जो मुझसे रुठ गया है,
ना जाने क्यो मुझसे बाते करता नही,
मेरे दिल के अल्फाज़ो को भी पढता नही,
जाने कौन सी कसक है, जो दिल को खाये जा रही है,
ऐसा लगता है वो हमसे कुछ छुपाये जा रही है,
ऐसा न था वो, फिर क्यों मुझसे रुठ गया है,
सच कहू तो मेरा दिल, आज टूट गया है,
होती है खताए हर एक से मगर,
कोई जानता नही, कोई मानता नही,
अब तो नज़रे ऐसे चुराता है, जैसे हमे वो पहचानता नही,
अपनो का भी दामन, उसके खातिर छुट गया है,
सच कहू तो मेरा दिल, आज टूट गया है।
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