22 JUN 2017 AT 21:46

मुझे याद है पापा वो दिन
जब आप अपने फटे जूते
पानी से पोंछ पहन लेते थे
पर हमारे जूते
न जाने क्यों
कभी फटे न होते थे
मैं जब कभी पूछता आपसे
आप यही कहते थे
"ये तो अभी नया है "
और न जाने क्यों
आपके सारे कपड़े भी नए ही रहते थे
और हर बार
सिर्फ हमारे ही कपडे खरीदे जाते थे
तब मैं यही सोचता था
एक दिन मैं भी आपके लिए
नए जूते लाऊँगा
खूब सारे कपड़े लाऊँगा
देखो पापा आज वो दिन आ गया है
मुझे मेरी पहली कमाई मिली है
और बस यही सोचता जा रहा हूँ
न जाने आपको कौन सा रंग पसंद आएगा
क्यूँकि कभी आपको रंगीन नहीं देखा है
मैं आपको बता नहीं सकता पापा
मैं आज कितना खूश हूँ।

- गुमनाम "अत्र" (सौरभ)