नींद नहीं अब आँखों में तेरे दीदार की चाहत रखतीं तेरा रास्ता तकतीं हैं रहतीं होठों से लफ्ज़ न निकले कोई पर आँखें यह कहती रहतीं तेरा ज़िक्र चले दिन रैन यूंही तेरे नाम से दिल धड़के यूंही जुस्तजू जिसकी थी कब से वो यार मिलाया है रब्ब ने रात भर अब नींद नहीं बस कलम स्याही से कागज़ पर जज़्बात ए दिल उतारती रहती
ज़िंदगी है ताना बाना कुछ हक़ीक़त कुछ अफसाना इसकी कुछ उलझनें हैं और कई सवाल भी कुछ चाहतें और ख्वाहिशें मुश्किलों के हल भी हैं शिकायतों के जवाब भी ज़िंदगी है ताना बाना क्या मुमकिन है, हर पल इसे हस के जी पाना???
क्या कहीं कोई हमें याद करता है? क्या कहीं कोई रात भर जागता है, कुछ कहने और सुनने को तड़पता है? बस खुद से बात करते करते कब वक्त बीता और रात से सुबह हुई चांद की चांदनी ख़त्म, सूरज ने किरणें बिखराई आस और विश्वास रोज़ एक दूसरे से कहते देखे मायूस न हो, कर यकीन खुद पर आज तू खुद से बातें करती है जल्द करेगा कोई तुझसे प्यार जी भर कर रात भर खुद से बात करते हैं ...
And the rain poured on the ground The scent of the wet mud Blooming a precious flower from its bud Silent whispers between us Holding hands with a gentle press A breeze of love and the feeling of caress My heart feens to stay forever in this bliss
A myriad of gentle love Your subtle voice speaks volumes And your soft look brings me intense pleasure My heart wants to live in these moments forever These moments, in which we are together
तेरी हल्की सी वो मुस्कुराहट पसंद है मेरी तरफ देखती वो तेरी चाहत भरी नज़र पसंद है वो धीरे से तेरा मुझे पुकारना पसंद है तेरा सरलता से बातों को समझाने का तरीका पसंद है तेरी उंगलियों का स्पर्श जो मुझे गुदगुदाए वो पसंद है तेरा मुझे अपनी बांहों में भर लेना पसंद है तेरी खुशबू जो मेरा रोम रोम महकाए वो पसंद है बरसात में गुज़ारा हमारा वो साथ पसंद है तेरे संग बीतता है जो वो हर लम्हा पसंद है न जाने कैसे कहूं मुझे तू किस कदर पसंद है न जाने कैसे कहूं मुझे तू किस कदर पसंद है
तेरा अक्स मुझे बस दिखता है तेरी सांसों की वो गर्मी मेरी रूह तक जो जाती है झूठ नहीं सच कहती हूं वो मेरी जीवनदायनी है तेरी उंगलियों की वो हर हरकत मेरे जिस्म को अब भी गुदगुदाती है तेरे इत्र की ही नहीं, तेरे जिस्म की खुशबू भी मेरे जिस्म को महकाती है तू बस तू ही मेरे तसव्वुर में मेरे चारों ओर तेरी परछाई है