उझली हूँ उलझनों में
भरोसा बहुत है आप पर
लेकिन बेबस हूँ किये गए वायदों पर
तोड़ नही सकती वो वादे पर
छोड़ भी नही सकती आपको
देना चाहती हूं तमाम खुशियां
पर कुछ मजबूरियां है
जो मुझे तेरे करीब आने नही देती
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Kathak dance
Writer......✍️
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मैं एक बेजान सी मूरत,
जिसको न तराशा जा सकता हैं,
न ही जान डाली जा सकती है।-
हज़ारो एहसास एक एक करके जुड़ते गए
जब तुम मुझे, बिना छुए छुते गए
दूर होकर भी तुम दिल के करीब आते गए
यादो के सहारे मोहब्बत के धागे बुनते गए
कही ऐसा न हो कि ये धागे फिर टूट जाए
फिर इस सफर में हम हमसफर न बन पाए
बाँध के रखना इस ड़ोर को वरना कही हम न टूट जाए-
ज़िन्दगी में सबकुछ कर लेना
पर किसी के सामने हाथ मत फैलाना
चाहें वो आपका पति हो या पिता
चाहें सगा संबंधी-
रिश्ते भी social media की तरह हो गए है
जब तक post न करो तब तक reply नही आता-
मेरे बदन को कुछ इस तरह छू जाओ तूम
की मेरे हर घाव को चूम जाओ तुम
कही बाकी न रहे ज़ख्म के निशान बदन पर,
कुछ इस तरह अपने प्यार की निशानी छोड़ जाओ तुम-
मेरी नज़्म पर बस तेरा नाम हो
ओर ये कहानी सरेआम हो
जब जब सुने कोई नज़्म मेरी
तो हर धड़कन में तेरा ही पैगाम हो
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Meri najaro Mai paiso ki koi Kimat nahi
Jo tum mujhe kisi odni Mai bhi sawar do to mere liye Sona ban jae-
मैने कहाँ मेरी नीँद पूरी नही हुई
उसने कहाँ अगर नीँद पूरी हुई
* तो सपने कैसे पूरे होंगे*-
एक ने ठुकराया
दूसरे ने संभाला
लेकिन दिल आज भी
पहले के लिए रोता है
दिल मानो काँच हो गया हैं
एक तोड़ता है एक जोड़ता है
ओर फिर उसकी याद में टूट जाता है
फिर दूसरा जोड़ता है
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