चराग़-ओ-जहान कुछ कम गुमां कर होने पे ख़ुद के ।ख़ुदा को भी भूल देती है दुनिया बाद वक़्त बीत जाने के ।। - ©प्रेम पुष्प
चराग़-ओ-जहान कुछ कम गुमां कर होने पे ख़ुद के ।ख़ुदा को भी भूल देती है दुनिया बाद वक़्त बीत जाने के ।।
- ©प्रेम पुष्प