ख़त लिखा मैंने इंसानियत के पते परडाकिया ही चल बसा पता ढूंढ़ते ढूंढ़ते - Shadow
ख़त लिखा मैंने इंसानियत के पते परडाकिया ही चल बसा पता ढूंढ़ते ढूंढ़ते
- Shadow