तुम्हारा नज़रिया बदला हैं साहिबहम वही है जिसे तुम्हें नफरत हुई थी कभीPari patel77 - p@ri
तुम्हारा नज़रिया बदला हैं साहिबहम वही है जिसे तुम्हें नफरत हुई थी कभीPari patel77
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