तुम कहते हो गम बाँट लो दोस्त,दिया गम बाँटने का हक़ तुमको - ए - दोस्त,पर मेरे गम पर मरहम मत लगाना दोस्त,इसी के सहारे जी रहा हूँ मैं हर रोज़।। - P. S. Chawla✍
तुम कहते हो गम बाँट लो दोस्त,दिया गम बाँटने का हक़ तुमको - ए - दोस्त,पर मेरे गम पर मरहम मत लगाना दोस्त,इसी के सहारे जी रहा हूँ मैं हर रोज़।।
- P. S. Chawla✍