1 MAY 2018 AT 0:01

अब्र से निकलती रोशनी में
घटाओं में छिपते चाँद में
कुछ तो है सुकून सा..
जो खुले आसमान के चाँद में नहीं
खामोश उस रात में
खुद की खुद से मुलाकात में
कुछ तो है सुकून सा..

©NikitaShriwas'तमन्ना'

- ©NikitaShriwas'तमन्ना'