18 MAY 2019 AT 7:24

पत्रकार वार्ता में सवाल का जवाब नहीं है ,
साल पाँच क्या क्या किया इसका भी हिसाब नहीं है!!

आज देखा उनको वो मुँह सुजाये बैठे थे ,
कह रहा था चेहरा कि अब वो रुआब नहीं है ।।

क्या किया है जनहित में जो पूछ बैठा कोई भी ,
कहते हैं कि दिल में तेरे देश का विकास नहीं है ।।

रोज़गार, राशन, गैस , नोटबंदी , जी एस टी ,
गिनली लाशें बालाकोट की शहीदों का हिसाब नहीं है ।।

सच बहुत ही कड़वा है रंग रूप बदल के रख देगा,
छुपा सके जो ग़द्दारी ऐसा कोई नक़ाब नहीं है ।।

हिंदू हिंदू करते हो क्या किया है धर्म के लिए ,
हालत हिंदुओं की भी कोई लाजवाब नहीं है ।।

धोखा किया गंगा से और झूठ राम पर बाँटा ,
कहते हो करम मेरा किस शान से ख़राब नहीं है ।।

हक़ में बात जनता के काश तुमने की होती ,
सत्ता में बैठा सेवक है वो कोई नवाब नहीं है ।।

गोधरा पे पूछो तो बात हो चौरासी की ,
दाग़ ख़ून का धो दे ऐसा कोई तालाब नहीं है ।।

माफ़ ना करेगी तुम्हें आत्मा किसानों की ,
ऊपर वाले की लाठी में देखना आवाज़ नहीं है ।।

अस्मिता छिनी बेटियों का दर्द भी गवाही है ,
बस तुम्हारी बेशर्मी का कोई जवाब नहीं है ।।

मैं भी एक हिंदू हूँ धर्म मेरा सनातन है ,
सोच मत तु पाखण्डी तेरे हिस्से का अजाब नहीं है ।।

जब पड़ेगी क़ुदरत की मार तो समझ लेना ,
रावण से बढ़के तेरा तो ज्ञान बेहिसाब नहीं है ।।

मलिका राजपूत शिंदे
१८ मई २०१९

- Malika Rajput Shinde