18 FEB 2018 AT 14:18

एक लंबे अरसे के बाद किसीके अल्फ़ाज़ में इतनी तन्हाई पढ़ी है,
यकीन आया इस जहां में हम अकेले नहीं है....

©Devika parekh2018

- तरपल