देखकर आईने में ,खुद को चाँद कहता है ।नशा है ये मोहब्बत का ,जो नजरों में उतरता है ।। - ©अरविन्द
देखकर आईने में ,खुद को चाँद कहता है ।नशा है ये मोहब्बत का ,जो नजरों में उतरता है ।।
- ©अरविन्द