तोड़ कर ख़्वाब मेरा, मुझको बेज़ार-ए-ख़्वाब कहते हो।आज पा कर साथ किसी और का, मेरे कल को बेकार कहते हो। - Anmol ©अजान
तोड़ कर ख़्वाब मेरा, मुझको बेज़ार-ए-ख़्वाब कहते हो।आज पा कर साथ किसी और का, मेरे कल को बेकार कहते हो।
- Anmol ©अजान