17 APR 2018 AT 17:46

चल थोड़ी कुछ वैसी / नादानियां / करते है
थोड़ा तू मुझे बेपरवाह याद कर लेना
और मैं भी / बस तुझे / निगाहों से चूम जाऊंगी ।।





ये भूल कर , कि ये नादानी भी
हमारी तकदीर कि
एक / आखरी फ़रमाइश / है ।।

- Nidhi