18 JUL 2018 AT 21:58

Part-2

संभल जा ऐ बंदे तू अंत तेरा बहुत निकट है,
सोच जरा तू... स्थिति तेरी बहुत विकट है।
समंदर अपनी हदें तोड़ रही है,
हवाओं का साथ खुसबू छोड़ रही है।
धुंधला सा सब हो चुका है,
ये धूल कहां से आई है?
याद कर ऐ बंदे तू ये तेरी ही कमाई है।
पृथ्वी पर आईं ये बड़ी संकट है,
संभल जा ऐ बंदे तू अंत तेरा बहुत निकट है।

- A.K.Verma