पापा के लिए मेरी अब तक की सबसे खास कविता
Part -1
ख्वाब लिखू अल्फाज़ लिखू,
ऐसा क्या पापा खास लिखू
साथ लिखू आवाज़ लिखू
हैँ मन का आप,विश्वास लिखू
दिल के सारे जज़्बात लिखू
ऐसा क्या पापा खास लिखू
ज़ब कभी उदासी छाती हैँ
मुझे याद आपकी आती हैँ
तब साथ आपका मिलता हैँ
ये दिल गुलाब सा खिलता हैँ
मन प्रेम भाव मे बहता हैँ
मन का अविरल विश्वास लिखू
ऐसा क्या पापा खास लिखू.
-